वो कह देना जा अब न होगी बात तेरी मेरी फिर कभी
और हर गुनगुनाती घंटी पे सोचना तेरा फ़ोन आया है
भूल कर भी भूले से न मिलेंगे अब सब ख़तम दरमियाँ
और फिर हर आहट पे सोचना के चौखट पे तुम आये
रखोगे फूलो की ख्वाइश और कांटो से डरोगे
ए मेरे दोस्त ऐसे कैसे तुम दुनिया से लड़ोगे। .